काशीपुर । केन्द्रीय बजट को लेकर उद्योग जगत से प्रतिक्रियाएं लगातार आ रही हैं। कुमांऊ गढ़वाल चैंबर ऑफ कामर्स एंड इंडस्ट्रीज (केजीसीसीआई) महुआखेड़ागंज औद्योगिक जोन के चेयरमैन अतुल असावा ने केंद्रीय बजट को लेकर इसके कुछ प्रावधानों पर निराशाजनक प्रतिक्रिया दी है। खासकर आयकर के प्रावधानों को उन्होंने चिंता जताई है।
अतुल असावा ने कहा कि यूलिप (यूनिट लिंक्ड इन्श्योरेंस प्लॉन) को कर के दायरे में लाने से निवेश हतोत्साहित होगा। 2.5 लाख रुपये से अधिक के पीएफ, अंशदान पर अर्जित ब्याज की राशि को एक अप्रैल 2021 से कर योग्य घोषित करना गलत है। इससे स्वेच्छा से पीएफ में निवेश करने वाले हतोत्साहित होंगे। 2.5 लाख से अधिक वार्षिक प्रीमियम भरने वाले यूलिप को कर के दायरे में लाने से भी निवेश प्रभावित होगा। 75 वर्ष से अधिक आयु के पेंशनर्स को आईटीआर की छूट से भी वरिष्ठ नागरिकों के कर में कोई रियायत नहीं मिलेगी।
अतुल ने कहा कि बजट में आईटीआर के गैर फाइलरों के लिए किया गया नया प्रावधान स्पष्ट नहीं है। इसमें यह स्पष्ट किया जाना चाहिए कि गैर फाइलरों की पहचान कैसे होगी और अगर किसी को कानूनी तौर पर आईटीआर दाखिल करने की आवश्यकता नहीं है तो उसे अलग कैसे किया जाएगा।