दुनिया में शायद ही ऐसा कभी हुआ होगा, जब किसी देश में छोटा भाई राष्ट्रपति और बड़ा भाई प्रधानमंत्री हो, लेकिन श्रीलंका में ऐसा ही होने जा रहा है। हाल ही में राष्ट्रपति चुने गए गोटाबाया राजपक्षे ने अपने बड़े भाई महिंदा राजपक्षे को देश के प्रधानमंत्री के रूप में नामित किया है।
श्रीलंका सरकार के प्रवक्ता विजयानंदा हेराथ ने इसकी पुष्टि की है। उनका कहना है कि महिंदा जल्द जिम्मेदारी संभाल लेंगे। वे इस्तीफा दे चुके रनिल विक्रमसिंघे का स्थान लेंगे।
एक दशक पहले श्रीलंका में सक्रिय आतंकी संगठन लिट्टे के सफाए में दोनों भाइयों महिंदा और गोटाबाया ने बड़ी भूमिका निभाई थी। महिंदा जब 2005 में पहली बार श्रीलंका के राष्ट्रपति बने थे, तब उन्होंने गोटाबाया को श्रीलंका के रक्षा मंत्रालय में स्थायी सचिव नियुक्त किया था। गोटाबाया के नेतृत्व में ही लिट्टे के खिलाफ सैन्य अभियान चलाया गया था।श्रीलंका में माना जाता है कि दोनों भाइयों के चीन से करीबी रिश्ते हैं।
महिंदा राजपक्षे 2005 से 2015 तक श्रीलंका के राष्ट्रपति। वे कोलंबो के लॉ कॉलेज से स्नातक हैं। महिंदा 24 साल की उम्र में सबसे युवा सांसद बने थे तथा सरकार में श्रम-मत्स्य पालन मंत्री रहे।
गोटाबाया राजपक्षे 1971 में सेना में हुए भर्ती। उन्होनें मद्रास विश्वविद्यालय से रक्षा मामलों में पीजी डिग्री ली। गोटाबाया ने अमेरिका में आईटी पेशेवर के रूप में भी काम किया। वे 2005 में श्रीलंका के रक्षा सचिव बने।