राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ने कहा कि जनता ने उनकी पार्टी से विपक्ष में बैठने के लिए कहा है और उनकी पार्टी ऐसा ही करेगी। वहीं इससे पहले अजीत पवार ने भी यह कहा था कि महाराष्ट्र में राकांपा और कांग्रेस विपक्ष के तौर पर ही रहेगी। बता दें कि शिवसेना की राकांपा और कांग्रेस के समर्थन से महाराष्ट्र में सरकार बनाने की संभावना की खबरों के बीच पवार ने यह टिप्पणी की है। उन्होंने मुख्यमंत्री पद के बंटवारे को लेकर भाजपा और उसके सहयोगी दल शिवसेना के बीच चल रहे गतिरोध को बचकाना बताया। बता दें कि सीएम के पद के लिए बीजेपी और शिवसेना में कई दिनों से खींचतान चल रही है।
बता दें कि 21 अक्टूबर को हुए महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में संयुक्त रूप से चुनाव लड़ने वाली भाजपा 105 और शिवसेना 56 सीटें जीतीं हैं। राकांपा और कांग्रेस के खाते में केवल 54 और 44 सीटें ही आई हैं। वहीं राकांपा और कांग्रेस के समर्थन से शिवसेना की सरकार बनने की संभावना के बारे में भी पवार ने बयान दिया। इस पर उन्होंने कहा कि इस संबंध में उनकी पार्टी में कोई चर्चा नहीं हुई है।
पवार ने कहा कि हमारे पास स्पष्ट बहुमत नहीं है। जनता ने हमें विपक्ष में बैठने को कहा है। हम उस जनादेश को स्वीकार करते हैं और ध्यान रखेंगे कि हम उस भूमिका को प्रभावी ढंग से निभाएं। जहां शिवसेना इस बात पर जोर दे रही है कि ढाई-ढाई साल में भाजपा और उसके मुख्यमंत्री बारी बारी से बनें। वहीं भाजपा ऐसी व्यवस्था को लागू करने की इच्छुक नहीं है।
बीजेपी- शिवसेना के बीच सीएम पद के लिए खींचतान पर शरद पवार ने सवाल उठाया हैं। उन्होंने कहा कि लोगों ने उन्हें सरकार बनाने का मौका दिया है। उन्हें इसका इस्तेमाल करना ही चाहिए। लेकिन अभी जो चल रहा है, वह मेरी राय में बचकाना है।