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कोयला संकट: स्थिति न सुधरी तो ब्लैक आउट की आशंका

@नई दिल्ली शब्द दूत ब्यूरो (12 अक्टूबर, 2021)

देश में कोयले की सप्लाई में समस्या के चलते बिजली संकट के हालातों पर कोयला मंत्रालय ने जानकारी दी है कि आखिर इस संकट के पीछे कारण क्या है। मंत्रालय के मुताबिक पहला कारण सितंबर महीने में कोयला खदानों के आसपास भारी बारिश की वजह से खदान से कोयला निकालने और सप्लाई करने की प्रक्रिया बाधित हुई, जिसकी वजह से उतना कोयला नहीं पहुंच पाया जितनी जरूरत था। या कह सकते हैं कि कोयले की सप्लाई सुचारू रूप से नहीं हो पाई।

दूसरा कारण है, पिछले कुछ दिनों में अंतरराष्ट्रीय बाजार में कोयले की कीमत बढ़ी है, इस वजह से कई कंपनियों के लिए महंगे कोयले का आयात करना मुश्किल हुआ। तीसरा, कोरोना की दूसरी लहर के बाद हुए अनलॉक में कई महीनों से ठप पड़ी अर्थव्यवस्था को खोला गया तो बहुत तेजी से फैक्टरियां और व्यवसाय खुले। तेजी से खुलने की वजह से अचानक डिमांड बढ़ी, इससे डिमांड और सप्लाई में अचानक बाधा पैदा हो गई। 

चौथा, पिछले कुछ दिनों में सरकार ने 2 करोड़ 82 लाख घरों को बिजली सप्लाई से जोड़ा. इन घरों को बिजली की लाइन से जोड़ने से भी इनकी खपत बढ़ गई। बता दें कि 135 थर्मल पावर स्टेशन में से 115 पावर स्टेशनों में कोयले की क्रिटिकल और सुपर क्रिटिकल शॉर्टेज है। उनके पास तय मानकों को हिसाब से कोयला नहीं है।

गहराते बिजली संकट को लेकर कई राज्यों ने केन्द्र के सामने अपनी चिंता ज़ाहिर की है। हालांकि केन्द्र सरकार ने इस तरह की आशंकाओं को निराधार बताते हुए कहा है कि देश में कोयले की कोई कमी नहीं और थर्मल पावर प्लांट्स को पर्याप्त कोयले की सप्लाई की जाएगी।

बता दें कि महाराष्ट्र में कोयले की कमी की वजह से सात थर्मल पावर प्लांट की 13 यूनिट ठप पड़ी हैं। जानकारी के मुताबिक- पावर प्लांट में केवल डेढ़ दिन का कोयला मौजूद है। मौजूदा आंकड़ों के मुताबिक, महाराष्ट्र स्टेट पावर जनरेशन कंपनी लिमिटेड (महाजेनको) के पास बचा है 1,91,475 मीट्रिक टन स्टॉक, जबकि हर रोज़ की खपत है 1,49,000 मीट्रिक टन। थर्मल पावर प्लांट के इन यूनिट में काम ठप है।

महाजनको के 210 मेगावाट वाले चंद्रपयर, भूस्वावा, नासिक यूनिट बंद है। महाजनको के 250 मेगावाट वाले पारस यूनिट में और 500 मेगावाट वाले भुसावल और चंद्रपुर यूनिट भी बंद है। पोस्टल गुजरात पावर लिमिटेड के 640 मेगावाट वाले चार यूनिट बंद हैं। रतन इंडिया पावर लिमिटेड के 810 मेगावाट वाले तीन यूनिट बंद हैं।

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