Breaking News

नैनीताल में आपदा प्रबंधन पर एक दिवसीय प्रशिक्षण

नैनीताल। इन्सिडेट रिस्पांस सिस्टम (आईआरएस) के नामित अधिकारियों का एक दिवसीय प्रशिक्षण जिला कार्यालय सभागार में सम्पन्न हुआ। आपदा की तैयारियों व आई.आर.एस. की जानकारी हेतु आई.आर.एस के अधिकारियों को विशेषज्ञ राज्य आपदा प्रबन्ध प्राधिकरण बी.बी. गणनायक द्वारा प्रशिक्षण दिया गया। श्री गणनायक ने प्रशिक्षण देते हुए बताया कि आपदा प्रबन्धन अधिनियम, 2005 के अनुसार जिला मजिस्ट्रेट एवं जिला प्रशासनिक तंत्र का प्रमुख ही जिला आपदा प्राधिकरण का अध्यक्ष होता है, जिसे जिलों में आपदा से प्रभावी तरीके से निपटने हेतु रेस्पोंसिबल आॅफीसर के रूप में पदनामित किया गया है।
प्रशिक्षण में विशेषज्ञ राज्य आपदा प्रबन्ध प्राधिकरण श्री गणनायक ने कहा कि आपदा की प्रकृति और प्रकार पर निर्भर करते हुये जिले में विभिन्न विभागों के प्रमुखों को अलग-अलग भूमिकायें निभानी होती है। आपदा के समय आई.आर.एस. के अधिकारियों का प्रमुख कार्य प्रभावित क्षेत्र में त्वरित गति से पहुॅचकर प्रभावित व्यक्तियों को बचाना और उन्हें राहत उपलब्ध कराना है। राहत सामाग्रियों के लिये पुलिस और सशस्त्र बल अभियान चलाने और नेतृत्व करने के लिये सबसे अधिक उपयुक्त है।
उन्होने बताया कि स्टेजिगं एरिया ऐसा क्षेत्र है जहाँ संसाधनों को इकट्ठा किया जाता है। जिसमें भोजन, वाहन और अन्य सामाग्रियां एवं वस्तुयें एक ही स्थान पर एकत्र की जाती हैं। उन्होंने बताया कि संसाधनों के तत्काल प्रभावी और तुरन्त नियोजन के लिये स्टेजिगं एरिया प्रभावित स्थल के निकट किसी उपयुक्त स्थान पर स्थापित किया जाता है। आपदा की परिस्थितियों से निपटने और विभिन्न कार्यो को पूरा करने के लिए रिस्पांस समय जितना कम होगा जान-माल का नुकसान उतना ही कम होगा। उन्होंने विभिन्न प्रारूपों की जानकारी देते हुए बताया कि आपदा के समय रिकोर्ड को व्यवस्थित रखने तथा सुव्यवस्थित तरीके से जानकारी रखने के लिए भरा जाना आवश्यक है ताकि आसानी से ज्ञात रहे कि किस घटना स्थल पर क्या सामान भेजा गया है। उन्होंने बताया कि इससे आपदा के पश्चात होने वाले आॅडिट में किसी प्रकार की समस्या नही आती है। साथ ही बाहरी एजेन्सियों से कराये गये कार्यो का भुगतान भी शीघ्र किया जा सकता है।
प्रशिक्षण कार्यशाला में श्री गणनायक ने रेस्पोंसिबल आफिसर  इंसीडेंट कमाण्डर, लाईजनिंग आफिसर , आपरेशन  सैक्शन, प्लानिंग सैक्शन, लोजिस्टिक सैक्शन के कार्यों तथा विभिन्न प्रारूपों के बारे में विस्तार से जानकारी दी।
प्रशिक्षण में जिलाधिकारी  विनोद कुमार सुमन ने आई.आर.एस. से जुड़े सभी अधिकारियों को प्रणाली की सम्पूर्ण बारीकियों एवं विभिन्न पहलुओं का गहनता से प्रशिक्षण लेते हुए आत्मसात करने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि किसी भी प्रकार की घटना होने पर सम्बन्धित अधिकारी अपने दायित्वों का भली-भांति समझकर उनका निर्वहन पूर्ण निष्ठा से करें। उन्होने कहा कि किसी भी आपदा के घटित होने पर रिस्पांस टाइम कम से कम हो इसका विशेष ध्यान रखा जाये। श्री सुमन ने सभी अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि सभी अधिकारी आईआरएस में सौंपे गए दायित्वों एवं कार्यों पर आधारित डाटा प्रजेंटेशन तैयार करना सुनिश्चित करें तथा विभिन्न प्रकार की दैवीय आपदाओं में उनके स्तर से संचालित होने वाले कार्यों की भी विस्तृत सूची तैयार करते हुए अवलोकन कराना सुनिश्चित करें। श्री सुमन ने अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि आईआरएस में सभी अधिकारियों के कार्य एवं दायित्व पहले से ही निर्धारित है।  आपदा के दौरान किसी आदेश की प्रतीक्षा किए बिना ही अपने कार्यों को कुशलता से सम्पन्न करना सुनिश्चित करें।
प्रशिक्षण में मुख्य विकास अधिकारी विनीत कुमार, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक सुनील कुमार मीणा, अपर जिलाधिकारी एसएस जंगपांगी, सिटी मजिस्ट्रेट हल्द्वानी प्रत्यूष सिंह, परियोजना निदेशक बालकृष्ण, मुख्य शिक्षा अधिकारी केके गुप्ता, जिला विकास अधिकारी रमा गोस्वामी, जिला आपदा प्रबन्धन अधिकारी शैलेश कुमार सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।

Website Design By Mytesta +91 8809666000

Check Also

आखिर संसद का मौसम गड़बड़ क्यों ?वरिष्ठ पत्रकार राकेश अचल बता रहे पूरा हाल

🔊 Listen to this संसद के बजट सत्र का मौसम खराब हो रहा है। खासतौर …

googlesyndication.com/ I).push({ google_ad_client: "pub-