@नई दिल्ली शब्द दूत ब्यूरो (7 अगस्त, 2021)
भगवान के बाद इस धरती पर यदि किसी को ईश्वर कहा जाता है, तो वो है डॉक्टर। कोरोना काल में ये बात हम महसूस भी कर चुके हैं। अपनी जान की परवाह किए बगैर डॉक्टर्स ने मानव सेवा में अपनी जान लगा दी। आज उनकी देन है कि इस धरती पर मानवता ज़िंदा है।
आज हम आपको एक ऐसे डॉक्टर से मिलवाने जा रहे हैं, जो मानवता के नाम पर एक आदर्श हैं. ये कुवैत सरकार के स्वास्थ्य विभाग में दंत चिकित्सक हैं। ‘डॉक्टर भैया’ के नाम से मशहूर ये शख्स पूरी दुनिया को अपना परिवार मानते हैं, हिन्दुस्तान को अपनी शान समझते हैं और बिहार को अपना दिल।
‘डॉक्टर भैया’ का असली नाम डॉ. सुमंत मिश्रा है। ये प्रवासी बिहारी हैं, बिहार के छपरा में इनका पुश्तैनी मकान है। यूपी के नोएडा में अपनी फैमिली के साथ रहते हैं। वर्तमान में ये कुवैत सरकार के स्वास्थ्य विभाग में जुड़कर काम करते हैं। ‘डॉक्टर भैया’ के पीछे कहानी ये है कि अपने काम को ये सेवा भाव के साथ करते हैं। अपने पेशे को इन्होंने मानवता के लिए समर्पित कर दिया है। भारत के अलावा नेपाल, भूटान, बांग्लादेश, पाकिस्तान जैसे देशों के लोगों को भी स्वास्थ्य के बारे में जानकारी देते हैं।
डॉ. सुमंत मिश्रा देश में हेल्थ एजुकेशन को बढ़ावा देना चाहते है। उन्होंने बिहार के गया जिले के लोहानीपुर गांव को गोद लिया है। यहां वे गांववासियों को स्वास्थ्य के प्रति जागरुक कर रहे हैं। इसके अलावा टेलीमेडिसीन की व्यवस्था भी कर रहे हैं, ताकि देश-विदेश के डॉक्टर गांववासियों को आसानी इलाज़ कर सकें।
बच्चों के लिए डिजिटल एजुकेशन की व्यवस्था कर रहे हैं ताकि बच्चे डिजिटल शिक्षा को आसानी से समझ सके। यहां करीब 12 गांव के लोग इस सेवा का लाभ उठा सकेंगे। अपने विशेष कैंपेन की मदद से डॉक्टर सुमंत मिश्रा देश को बेहतरीन बनाना चाहते हैं।