काशीपुर । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना महामारी से जूझ रही देश की जनता के लिए कोरोना वारियर्स का आभार व्यक्त करने तथा उन्हें सम्मान देने की अपील की है। एक ऐसे ही कोरोना कर्मयोद्धा से आपको मिलवाते हैं। लॉकडाउन से पहले यह रामपुर अपने घर अपने परिवार के समीप जा सकते थे लेकिन इनके फर्ज ने इन्हें रोक लिया।
हम बात कर रहे हैं हरीराम सैनी की। वैसे इन्हें रामा उस्ताद के नाम से जाना जाता है। एक कुशल सैफ हैं रामा उस्ताद। रामपुर के रहने वाले हरिराम यहाँ काशीपुर में भोजन तैयार करवाते हैं। प्रतिदिन सुबह से शाम तक इनका काम बदस्तूर जारी है। इनके बनाये भोजन के रोज तीन सौ से चार सौ पैकेट बनते हैं। जो कि प्रशासन द्वारा जरुरतमंदों को वितरित किए जा रहे हैं।
शब्द दूत ने जब इनसे पूछा कि वह लॉकडाउन से पहले घर जा सकते थे। क्यों नहीं गये? इस पर उनका जबाब दिल में घर कर गया। साधारण से हरिराम सैनी कहते हैं कि परिवार की याद तो आती है लेकिन इस समय देश में जो महामारी के रूप में संकट आया है। उसमें मेरी ज्यादा जरुरत है। परिवार की याद भी आती है और रोज फोन पर बात भी होती है।
हरिराम सैनी जैसे कोरोना वारियर्स ही हैं जो इस संकट के दौर में अपनी जिम्मेदारियों को निभा रहे हैं। ऐसे कोरोना के कर्मवीरों का सभी को आभार जतान चाहिए।