@शब्ददूत ब्यूरो
लखनऊ। उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने आदेश दिए हैं कि कोराना के चलते जो उद्यम या संस्थान लॉकडाउन के चलते बंद रहे हैं, उन संस्थानों को उनके हर कर्मचारी को वेतन देना ही होगा। इस बारे में अधिकारियों को कर्मचारियों को वेतन दिलाने के लिए कहा गया है। यूपी सरकार का कहना है कि हर गरीब, दिहाड़ी मज़दूर को सरकार एक हज़ार रूपए देगी। सरकार का कहना है कि मजदूर भले ही किसी भी प्रदेश के हों यह राशि सभी को दी जाएगी। अफसरों को कहा गया है कि मजदूर किसी भी कोने में हों, उनको ढूंढ़ा जाए और पैसे पहुंचाए जाएं।
मुख्यमंत्री योगी ने लोगों से अपील की है कि पूरे प्रदेश में अल्प वेतन भोगी, श्रमिकों या गरीब लोगों से मकान मालिक किराया ना लें। योगी ने कहा कि ये उनकी मानवीय अपील है। सरकार द्वारा अफसरों को स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं कि किसी की भी बिजली, पानी बकाए के चलते नहीं काटी जाएगी और इनकी बराबर आपूर्ति बनी रहेगी।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा है कि जो बाहरी राज्यों के कामगार हैं, उनकी दैनिक ज़रूरतों और आर्थिक ज़रूरतों की चिंता अधिकारी करें, जिससे वे अपने-अपने राज्यों के लिए पलायन ना करें। योगी ने कहा कि जो चुनौती हमारे राज्य पर आई है, पलायन के चलते हम नहीं चाहते कि बाकी राज्यों के सामने ये चुनौती आए।
योगी ने कहा कि यूपी में जो भी आ गए हैं, या पहले से रह रहे हैं, उनकी पूरी ज़िम्मेदारी हमारी है, उन्हें भोजन, शुद्ध पानी, और दवा देंगे, उनके चलते बाक़ी लोगों को स्वास्थ्य का कोई ख़तरा भी नहीं पैदा होने देंगे, मजदूर अपने राज्य में नहीं जाना चाहते तो भी कोई बात नहीं, सबकी हिफ़ाज़त सरकार की ज़िम्मेदारी है।
मुख्यमंत्री द्वारा निर्देश दिए गए हैं कि हर ज़िले में डीएम सामानों की लिस्ट की क़ीमत लगाएं, उसका पालन कराएं, जो जमाख़ोरी की गड़बड़ करें, उनके ख़िलाफ़ एफआईआर समेत कड़ी कार्रवाई करें।