@शब्द दूत ब्यूरो
नई दिल्ली। कैबिनेट की बैठक में सरकारी बैंकों के विलय को लेकर बड़ा फैसला लिया गया है। बैठक की अध्यक्षता पीएम नरेंद्र मोदी ने की। इस बैठक सरकार ने 10 बड़े सरकारी बैंकों के विलय को मंजूरी दे दी हैै। जल्द ही सरकार की ओर इस फैसले को लेकर अधिकृत घोषणा कीी जा सकती है।
याद दिला दें कि 30 अगस्त 2019 को वित्तमंत्रालय ने 10 सरकारी बैंकों के विलय का ऐलान किया था। अब इस सप्ताह सरकार की तरफ से नोटिफिकेशन जारी हो सकता है।
जानकारी के मुताबिक नोटिफिकेशन जारी होने के बाद 10 बैंकों का 4 बैंकों में विलय हो जाएगा। विलय की प्रक्रिया के बाद देश में सरकारी बैंकों की संख्या घटकर 12 रह जाएगी। सरकारी बैंकों के विलय की घोषणा पिछले साल अगस्त में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने की थी। समझा जा रहा है कि नए बैंक 1 अप्रैल 2020 से अस्तित्व में आ जायेंगे।
विलय जिन बैंकों का होना है वह इस प्रकार हैं।
पंजाब नेशनल बैंक, यूनाइटेड बैंक, ओरिएंटल बैंक ऑफ कॉमर्स (पंजाब नेशनल बैंक)तथा
केनरा बैंक, सिंडिकेट बैंक (केनरा बैंक)
इंडियन बैंक, इलाहाबाद बैंक (इंडियन बैंक)
यूनियन बैंक, आंध्रा बैंक, कॉरपोरेशन बैंक (यूनियन बैंक)का विलय होगा। अन्य आठ बैंक इस प्रकार होंगे
बैंक ऑफ इंडिया, बैंक ऑफ बड़ौदा, बैंक ऑफ महाराष्ट्र,सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया, इंडियन ओवरसीज बैंक, पंजाब एंड सिंध बैंक, भारतीय स्टेट बैंक तथा
यूको बैंक। इस प्रकार देश में अब कुल 12 बैंक ही होंगे।
चारों नए बैंक के ग्राहकों को नया अकाउंट नंबर और आईडी जारी हो सकता है। नए अकाउंट नंबर या आईएफएससी कोड को आयकर विभाग, बीमा कंपनियों, म्यूचुअल फंड आदि में अपडेट कराना होगा। साथ ही नया पासबुक, चेकबुक, डेबिट कार्ड और क्रेडिट कार्ड जारी हो सकता है।