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दुखद खबर: गुरूद्वारे पर फिदायीन हमले में 27 श्रद्धालुओं की हत्या, कई घायल, हमलावरों को सुरक्षा बलों ने किया ढेर

काबुल । अफगानिस्तान की राजधानी काबुल में आतंकियों ने आज एक गुरुद्वारे को निशाना बनाया।   यह हमला सुबह 7.30 बजे हुआ उस समय यहाँ बड़ी संख्या में सिख श्रद्धालु  प्रार्थना के लिए जुटे थे। इस फिदायीन हमले में धमाके में 27 श्रद्धालुओं की मौत हो गई।

इसके तुरंत बाद सुरक्षा बलों ने मोर्चा संभाला और जबाबी कार्रवाई करते हुए गुरुद्वारे की घेराबंदी कर चार आतंकियोंं को मार गिराया। इस हमले में घायल आठ से अधिक लोगों को अस्पताल में भर्ती किया गया है। बताया जाता है कि अभी भी 40 से ज्यादा श्रद्धालु फंसे हैं।

आई एस (इस्लामिक स्टेट) ने हमले की जिम्मेदारी ली है। अफगानिस्तान में करीब 300 सिख परिवार रहते हैं। जिनमें से अधिकांश  काबुल और जलालाबाद में बसे हुए हैं। इन्हीं दो शहरों में गुरुद्वारे भी हैं। भारत ने इस हमले की निंदा की है। विदेश मंत्रालय ने कहा, ‘‘कोरोना वायरस महामारी के समय में अल्पसंख्यक समुदाय के धार्मिक स्थानों पर इस तरह के कायरतापूर्ण हमले, अपराधियों और उनके आकाओं की शैतानी मानसिकता दिखातेहैं।’’

आतंकी गुट तालिबान के प्रवक्ता ज़बीहुल्लाह मुजाहिद ने ट्वीट किया- इस हमले से संगठन का कोई लेनादेना नहीं है। हमने कोई हमला नहीं किया।हमले के बाद गुरुद्वारा पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया है।

अफगानिस्तान में अल्पसंख्यक सिखों और हिंदुओं के धार्मिक स्थलों पर आए दिन हमले होते रहते हैं। इसके पहले 2018 में राष्ट्रपति अशरफ गनी से मुलाकात करने जा रहे हिंदुओं और सिखों के काफिले पर आत्मघाती हमला हुआ था। इसमें 19 सिख और हिंदु मारे गए थे। इस हमले की जिम्मेदारी भी इस्लामिक स्टेट (आईएसआईएस) ने ली थी। इन हमलों से सिख और हिंदू समुदाय डरा हुआ है। बड़ी संख्या में सिखों और हिंदुओं ने देश छोड़ने का फैसला कर लिया है। तीन सालों में काफी पीड़ितों ने भारत से शरण मांगी है। गुरुद्वारे को चारों तरफ से सुरक्षाबलों ने घेर लिया। सड़कों पर आवाजाही रोक दी गई।

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